पाकुड़ संवाददाता
पाकुड़: शुक्रवार को मंत्रिमंडल की बैठक में नई पेंशन योजना के तहत सेवानिवृत कर्मियों को पुरानी पेंशन प्रदान करने हेतु भरे जाने वाले पेंशन प्रपत्र के प्रारूप में संशोधन का प्रस्ताव पारित किया गया।विदित हो कि राज्य सरकार ने 1 सितंबर 2022 से अपने राज्य कर्मियों के लिए नई पेंशन योजना को समाप्त कर पुरानी पेंशन बहाल किया है। सरकार के निर्णयानुसार पुरानी पेंशन योजना का लाभ उन कर्मचारियों को भी मिलेगा जो 1 सितंबर 2022 से पहले सेवानिवृत्त हो चुके हैं और पेंशन की अर्हता रखते हैं।
ऐसे में राज्य में पुरानी पेंशन की अर्हता रखने वाले लगभग 2000 कर्मचारी सेवानिवृत्ति के उपरांत पुरानी पेंशन का इंतजार कर रहे थे, इनमें से कुछ कर्मचारी सरकार की शर्तों के अनुसार नई पेंशन योजना में जमा सरकार का अंशदान एवं उसका लाभांश भी सरकारी मद में जमा कर चुके हैं। परंतु पेंशन पोर्टल पर आवेदन करने में कठिनाइयों का सामना कर रहे थे।राज्य सरकार ने महालेखाकार के सुझाव पर पेंशन प्रपत्र में बदलाव किया है तथा अब पेंशन का आवेदन करते समय कर्मचारी सरकार को जमा किए गए अंशदान का ब्यौरा भी फार्म में भर सकेंगे।आज के कैबिनेट के निर्णय पर खुशी जाहिर करते हुए झारखंड ऑफिसर टीचर्स एंड एम्पलाइज फेडरेशन तथा नेशनल मूवमेंट फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम के जिला अध्यक्ष अतीकुर रहमान ने कहा कि आज के निर्णय के लिए राज्य के समस्त कर्मचारी अपनी सरकार के प्रति आभारी हैं तथा यह दिखाता है कि सरकार अपने निर्णय को धरातल पर उतारने के लिए दृढ़ संकल्पित है।राज्य कर्मियों के सतत संघर्ष और तत्कालीन मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के लोक कल्याणकारी सोच के बदौलत राज्य कर्मियों को शेयर बाजार आधारित नई पेंशन योजना से छुटकारा मिला है और उनका बुढ़ापा सुरक्षित हुआ है अब उम्मीद है कि अगले एक से दो महीने में सेवानिवृत कर्मियों को पेंशन मिलना प्रारंभ हो जाएगा।